ट्रेंड्स और रिवर्सल्स का सिग्नल देनेवाले एक प्रमुख इंडिकेटर के रूप में आप इस ओसिलेटर के साथ क़ॉन्वर्जेंसेस और डाइवर्जेंसेस भी देख सकते हैं।

 OPEC -

स्टोकैस्टिक आरएसआई का उपयोग करते हुए मोमेन्टम ट्रेडिंग

यह इंडिकेटर अपनी वैल्यू तक पहुँचने के लिए आरएसआई वैल्यू पर स्टोक़ैस्टिक ओसिलेटर फोर्मूला लगाता है, यह गणना खुद प्राइज़ की जगह प्राइज़ के इंडिकेटर पर आधारित है, इसे प्राइज़ का दूसरा डेरिवेटिव या इंडिकेटर का इंडिकेटर कहा जाता है। इसका अर्थ यह है कि स्टोक आरएसआई बनने के लिए प्राइज़ दो बदलावों से गुज़री है। प्राइज़ को आरएसआई में कन्वर्ट करना एक बदलाव है। आरएसआई को स्टोक़ैस्टिक ओसिलेटर में बदलना दूसरा बदलाव है।

परिणामित इंडिकेटर Indicators कितने होते है आरएसआई की तरह ही 0 और 100 के बीच झूलती है। पहले वैल्यू 0 और 1 के बीच थी लेकिन अधिकतर आधुनिक तक्निकी विश्लेषण इसे स्पष्टीकरण की सुविधा के लिए इसे 0 और 100 में कन्वर्ट करते हैं।

यह इंडिकेटर तुषार चंदे और स्टेनली क्रॉल ने बनाया था और 1994 में इसे अपनी पुस्तक “द न्यू टेक्निकल ट्रेडर” में इसका परिचय दिया। चंदे और क्रॉल ने समझाया कि बिना छोर तक पहुंचे, आरएसआई की लंबे समय तक 80 और 20 के बीच झूलने की प्रकृति होती है।इसीलिए आरएसआई में ओवर बॉट और ओवर सोल्ड आरएसआई रीडिंग के आधार पर किसी स्टॉक में प्रवेश करने की इच्छा रखनेवाले ट्रेडर्स बिना किसी ट्रेड सिग्नल के खुद को साइड लाइंस में पा सकते हैं। दूसरी तरफ स्टोक आरएसआई, आरएसआई की संवेदनशीलता बढ़ा कर अधिक ओवर बॉट/ओवर सोल्ड सिगनल्स उत्पन्न करता है।

Slack पर Typing Indicators कैसे हटाए?

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कुछ मायनों में, slack जैसे उपकरण अक्सर बहुत सारी तात्कालिकताएं पैदा करते हैं, जिससे संदेशों का तुरंत जवाब देने के लिए दबाव डाला जा सकता है या आपके उपलब्ध न होने पर भी चैनलों पर प्रतिक्रिया देने के लिए जल्दबाजी की जा सकती है।

शुक्र है, ऐसे कई तरीके हैं जिनमें slack user को अपने अनुभव को कम तनावपूर्ण बनाने के लिए अनुकूलित करने देता है, जैसे typing indicators को हटाना। मोबाइल ऐप और डेस्कटॉप पर typing indicators को हटाने के दो तरीके हैं। यहां बताया गया है कि दोनों कैसे करें।

Slack पर Typing Indicators कैसे हटाए?(mobile app)

ज्यादातर लोग अपने फोन का उपयोग करते हुए slack on-the-go का उपयोग करते हैं, यह आपके मोबाइल ऐप पर typing indicators को हटाने के लिए समझ में आता है। अपना हटाने के लिए इन चरणों का पालन करें:

  1. अपने मोबाइल फोन पर, slack ऐप खोलें।
  2. स्क्रीन के ऊपरी-बाएँ कोने में, workspace icon पर क्लिक करें।
  3. Preferences टैप करें।
  4. advance का चयन करें।
  5. Display Typing Indicator के आगे, बटन को टॉगल करें।

Slack पर Typing Indicators कैसे हटाए?(desktop)

यदि आप अपने आप को डेस्कटॉप पर slack का अधिक बार उपयोग करते हुए पाते हैं, तो आप वहां typing संकेतक भी हटाना चाह सकते हैं।

  1. आपके slack डेस्कटॉप ऐप पर।
  2. स्क्रीन के ऊपरी-दाएँ कोने में, अपनी display photo पर क्लिक करें।
  3. Preferences चुनें.
  4. Messages & media पर क्लिक करें।
  5. अतिरिक्त विकल्पों के अंतर्गत, “वर्तमान में संदेश कौन टाइप कर रहा है, इसके बारे में जानकारी प्रदर्शित करें” के बगल में स्थित बॉक्स को अनचेक करें।

ध्यान रखें कि slack पर typing indicators को हटाना केवल आपके विचार तक सीमित है। इससे आप यह नहीं बदल सकते कि जिस व्यक्ति से आप बात कर रहे हैं वह आपका typing स्टेटस देख रहा है या नहीं।

typing indicators को हटाने के अलावा, आपको अधिक शांतिपूर्ण कार्य वातावरण के लिए slack पर अन्य सेटिंग्स को बदलने पर भी विचार करना चाहिए। उदाहरण के लिए, आप उपलब्ध होने या अनुपलब्ध होने पर दिखाने के लिए अपनी slack स्थिति भी बदल सकते हैं।

Keyboard को कंप्यूटर से कनेक्ट कैसे करें:-

Keyboard को कंप्यूटर से कनेक्ट करने के मुख्यत दो विधि है।

Wire या cable के द्वारा

बिना केबल के द्वारा (wirless)

केबल के द्वारा पुराने समय में हम लोग एक सीरियल connector pin से कनेक्ट करते थे। जिसका आकार राउंड गोल था। लेकिन अब आज के समय हम लोग keyboard को USB port से कनेक्ट करते है।

बिना केबल( wirless) keyboard को एक सिग्नल के द्वारा कनेक्ट करते हैं। इसमें एक signal reciever को कंप्यूटर के यूएसबी पार्ट में लगते है तो keyboard signal के द्वारा कंप्यूटर से कनेक्ट हो जाता है । हालाकि इसमें keyboard में एक अलग से पॉवर सप्लाई के लिए cell का उपयोग करना पड़ता है।

Keyboard के बटन की जानकारी:-

दोस्तों keyboard के बटन को हम निम्न भागों में वर्गीकृत कर सकते है ।

2. Function keys

3. Navigation keys

5. Numerical keys

6. Indicator lights keys

Typing keys:-

दोस्तों keyboard का सबसे अहम भाग हमारा टाइपिंग keys ही होता है। इसके द्वारा हम किसी भी प्रकार के text command computer को से सकते है।

इसके अन्तर्गत alphabetical, numerical, symbols, और pantuation marks के keys आतें हैं।

Function keys:-

ये keys कुल 12 (F 1 – F 12) होते हैं। जो keyboard के सबसे टॉप पर होते हैं। यह F 1 से लेकर F 12 तक सीरियल क्रम में होते हैं। इसका उपयोग किसी विशेष काम में किया जाता है।

जैसे अगर विंडोज 10 version में alt+F4 keys press करेंगे तो हमारे कंप्यूटर पर shutdown button का इंटरफेस रन करेगा जिसको इंटर करने पर हमारा कंप्यूटर shutdown हो जाएगा।

Some important tips:-

• दुनिया में keyboard typing की सबसे fastest typing record 163 word per second Indicators कितने होते है है।

• हमे keyboard पर शुरुआत में टाइपिंग करते समय हमारे हाथ में दर्द होने लगता है। इसीलिए हमें कुछ कुछ समय बाद रेस्ट लेना चाइए।

• Keyboard का पूर्वज टाइपराइटर को कहा जाता है।

• पहले टाइपराइटर में ही keyboard का फार्मेट आया।

• Key board के स्पेस बटन को इसीलिए बड़ा बनाया जाता है क्योंकि टाइपिंग के समय हर word के बाद इसकी जरूरत पड़ती है तथा साथ ही साथ इसे आसानी से और fastly दबाया जा सके इसलिए बड़ा बनाया जाय है।

Chandu

दोस्तों! Key borad के बारे में ये जानकारी कैसा लगा कमेंट कर के जरूर बताएं।

वाहन में दिए गए इंडिकेटर्स का सही से करें इस्तेमाल, दुर्घटना से बचने में मिलेगी मदद

वाहन में दिए गए इंडिकेटर्स का सही से करें इस्तेमाल, दुर्घटना से बचने में मिलेगी मदद

सभी वाहनों में इंडिकेटर्स लगे होते हैं। राइट साइड में मुड़ने पर राइट और लेफ्ट में मुड़ने पर लेफ्ट इंडिकेटर का उपयोग किया जाता है। इससे आपके पीछे या आगे Indicators कितने होते है आ रहे वाहनों को पता चलता है कि आप किस तरफ मुड़ने वाले हैं। ज्यादातर लोग इसे इस्तेमाल तो करते हैं लेकिन इसका सही उपयोग करना नहीं जानते हैं। जिस कारण इंडिकेटर्स का उपयोग करने के बाद भी दुर्घटना हो जाती है। जानें इसके उपयोग के सही तरीके।

समय से करें इसका उपयोग

सही समय पर इंडिकेटर्स का उपयोग करना जरूरी है। अन्यथा इसके इस्तेमाल का कोई मतलब नहीं रह जाएगा। कई लोग ड्राइविंग करते समय म्यूजिक या बातों के कारण इसे इस्तेमाल करना भूल जाते हैं और जब मोड़ बहुत नजदीक आ जाता है तब सिग्नल देते हैं। इससे पीछे और आगे वाले वाहन का ड्राइवर उनकी योजना समझ नहीं पाता और उस साइड ही मुड़ जाता है, जिस तरफ उन्हें मुड़ना होता है। ऐसे में दुर्घटना होने का डर रहता है।

इंडिकेटर्स का उपयोग करना अच्छे ड्राइवर की आदत में आ जाता है। उन्हें इसका ध्यान रखने की जरूरत नहीं पड़ती है। मोड़ आने पर उनका हाथ तुरंत इंडिकेटर पर चला जाता है। वहीं कई लोगों को लगता है कि इसका उपयोग तभी करना चाहिए, जब कोई अन्य वाहन उनके आसपास हो। इंडिकेटर सिर्फ वाहनों के लिए नहीं होता। सड़क पर पैदल चलने वालों को भी इसका सिग्नल दिया जाता है ताकि उन्हें वाहन की स्थिति को समझने में मदद मिले।

बिना जरूरत के न करें इस्तेमाल

कुछ लोग ऐसे होते हैं जो जरूरत न होने पर भी इंडिकेटर का उपयोग करते हैं या फिर ड्राइविंग करते दौरान बोर होने पर बार-बार इंडिकेटर का इस्तेमाल करने लगते हैं। वो कई बार मजाक-मजाक में यह गलती कर जाते हैं, लेकिन इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि बिना कारण इसका इस्तेमाल करने से आपके आगे और पीछे आने वाले वाहनों को कंफ्यूजन हो सकता है। इससे एक बड़ी सड़क दुर्घटना होने का खतरा होता है।

कुछ लोग सोच नहीं पाते हैं कि उन्हें लेफ्ट जाना है या राइट। जिस कारण वे सही साइड का इंडिकेटर इस्तेमाल नहीं करते हैं। उन्हें जाना राइट में होता है और वे लेफ्ट इंडिकेटर का उपयोग करते हैं। इसलिए सोच लें फिर इसका इस्तेमाल करें।

मोदी सरकार के लिए चुनौती बनेंगे ये नंबर, दिवाली से पहले बढ़ी परेशानी

Updated Oct 7, 2022 | 08:18 PM IST

Gold-Silver Rate Today, 20 Dec 2022: ग्लोबल मार्केट में सस्ता हुआ सोना-चांदी, लेकिन भारत में बढ़ी कीमत

Narendra Modi And Nirmala Sitharaman

फाइल फोटो: पीएम नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण

  • विश्व बैंक ने भारत की GDP ग्रोथ रेट के अनुमान में एक फीसदी की कटौती कर दी है।
  • सर्विस सेक्टर 6 महीने के निचले स्तर पर आ गया है।
  • ओपेक प्लस देशों के फैसले से पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर राहत मिलने की कम उम्मीद ।

Indian Economy Challenge : दिवाली नजदीक है, उम्मीद थी कि त्योहारों पर महंगाई (Inflation)से राहत मिलेगी, और लोगों के जेब में ज्यादा पैसा आएगा। लेकिन ऐसा होते नहीं दिख रहा है। इसकी सबसे ताजा वजह कच्चे तेल (Crude Oil) की कीमतों पर ओपेक प्लस (OPEC +) देशों का फैसला है। जिसमें उन्होंने तेल उत्पादन में कटौती का फैसला कर दिया है। ऐसे में पहले से ही मंदी की आशंका से बिगड़े वैश्विक माहौल में ओपेक प्लस का फैसला और महंगाई बढ़ाएगा। इसी तरह सितंबर महीने में भारतीय सर्विस सेक्टर (PMI) का आंकड़ा भी उम्मीदों भरा नहीं रहा है। इसके बाद विश्व बैंक (World Bank) की ताजा रिपोर्ट ने रही सही कसर पूरी कर दी है। उसने भारत की ग्रोथ रेट (GDP Growth Rate) का अनुमान एक फीसदी घटा दिया है।

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